CORONA VIRUS की कहानी
Story of CORONA Virus
COVID-19
CORONA VIRUS की कहानी को न्यूज पेपर, समाचार, टी॰वी॰
मे चल रही जानकारी, पुरानी सूचना इत्यादि के आधार पर तैयार कर
आपके सामने प्रस्तुत किया जा रहा है | हम जानते है की इसमे किसी
भी प्रकार की त्रुटि होने की संभावना हो सकती है पर प्रयत्न के आधार पर सभी सत्य जानकारीयो
को एकत्र करने की कोशिश की गई है |
अगर पाठक को इस जानकारी
मे किसी भी प्रकार का संदेह, त्रुटि और अधूरी जानकारी लगे तो वह नीचे दिए गए Comments मे अपने विचार साझा कर सकता है | “आप सभी के सहयोग के
लिए धन्यवाद” !
कोरोना को लेकर पूरी दुनिया मे आज हाहाकार मचा हुआ है | चीन से
निकले इस जानलेवा बीमारी का इलाज अभी तक नही मिला है, ठीक उसी
तरह इस वाइरस के रहस्य को सुलझाने मे हमारे
सभी डाक्टरों की टीम लगी हुई है | तो आइए आज हम जानते है की कोरोना
क्यो ? कब ? कैसे ? और कहा से आया ?
जनवरी 2019 मे इंस्टीट्यूट आफ वायरलाजी
नेशनल बायोसेफ़्टी लैब, वुहान(चीन) मे कई घातक और दूसरे वाइरस मे रिसर्च
कर रहे वैज्ञानिक अपने माइक्रोस्कोप मे एक अजीब सा वाइरस देखते है | मेडिकल के ईतिहास मे ऐसा वाइरस पहले कभी नही देखा गया था | इस जेनेटिक स्थिति को गौर से देखने पर यह पता चला की यह चमगादर के बहुत करीब
हो सकते थे |
वैज्ञानिक हैरान थे क्योकी इस वाइरस की समानता, उस वाइरस से थी जो सन 2002-2003 मे
चीन मे महामारी फैलाई थी और दुनिया भर मे 700 से ज्यादा लोग मारे गए थे |
उस समय ये बताया गया था की यह महामारी संक्रमित व्यक्ति के छूने, खासने और
छिकने से फैलता है, पर तब चीन द्वारा इस वाइरस को छुपाया गया |
दिसंबर 2019 का पहला
सप्ताह, वुहान (चीन) के Sea Food मार्केट के आसपास रहने वाले कई लोग अचानक बुखार से पीड़ित होने शुरू हो जाते
है | इनके टेस्ट के लिए सेंपल को लैब मे भेजे गए, जिसके बाद इस सेंपल को वुहान इंस्टीट्यूट आफ फेरलोगी नेशनल बाय सेफ़्टी लैब
के पास पहुचे, जहा जांच मे जो दिख रहा था वो आने वाले संकट का
संकेत था |
दिसंबर 2019 का अंतिम
सप्ताह, वुहान (चीन) के डॉ॰ली॰वेल्यांक
(Dr॰Lee Wenliang) के अस्पताल मे स्थानीय Sea Food मार्केट से लगभग सात मरीज पहुचे | ये वही डॉ॰ है जिन्होने
पहली बार दुनिया को इस जानलेवा वाइरस की जानकारी दी थी | इन सभी
मरीजो की स्थिति को देखकर डॉ॰ली॰वेल्यांक को यह अंदाजा हो गया था की ये सभी किसी अंजान
वाइरस के शिकार हो गए है | उन्होने तुरंत इस बीमारी के बारे मे
दूसरे डाक्टरों को सूचित किया और इस वाइरस पर अपनी रिपोर्ट दी | इतना ही नही उन्होने अपने WeChat ग्रुप पर भी जानकारी
दी | लेकिन कुछ ही घंटो मे उनके मैसेज का स्क्रीन शॉर्ट वियरल
हो गया |
जनवरी 2020 का पहला
सप्ताह, नए साल के जश्न मे पूरी
दुनिया और चीन डूबी हुई थी, और ठीक उसी समय से ये वाइरस लगातार फैलता
जा रहा था | स्थानीय Sea Food मार्केट से
फैलकर ये वाइरस सैकड़ो मे फैल गई |
25 जनवरी 2020 को अँग्रेजी नए साल के बाद, आया चीनी नया साल | इस मौके और जानकारी देने पर होने वाले अफरातफरी से बचने के लिए
वाइरस की जानकारी को सामने नही लाया गया, मगर इंस्टीट्यूट आफ
वायरलाजी नेशनल बायोसेफ़्टी लैब, वुहान(चीन) मे इसकी जांच शूरू
हो गई | जांच मे चंमगादड़ को आधार मानकर आगे बढ़ा गया, क्योकि इस वाइरस का लक्षण चंमगादड़ से मिलता-जुलता होने के साथ-ही-साथ यहा चंमगादड़ की मात्रा अधिक और आस-पास के क्षेत्र मे चमगादड़ का मांस खाना और सूप पीने
के प्रचलन था | अब तक की जांच से ये निकाल रहा था की हो ना हो
ये वाइरस इन्ही चंमगादड़ से फ़ेल रहा है और सारे रिसर्च इसी तरफ इशारा कर रहे थे |
फरवरी 2020 का पहला
सप्ताह, वुहान (चीन) मे डॉ॰ली॰वेल्यांक
(Dr॰Lee Wenliang) अपने अस्पताल मे न केवल इस वाइरस से लोगो को
सचेत कर रहे थे, बल्कि मरीजो का अपने तरीके से उनका इलाज भी कर रहे थे | इसी बीच ये खबर चीन से निकलकर दुनिया भर मे पहुचना शुरू हो गई |
चीन मे भी अंत मे मान लिया की उसके देश को कोरोना नामक एक महामारी ने जकड़ लिया
है | वही दूसरी तरफ चीनी सरकार ने 34 वर्षीय डॉ॰ली॰वेल्यांक को कोरोना पर फैले
WeChat मैसेज के लिए नोटिस भेजकर उनसे जवाब मांगा और साथ ही साथ
उन पर अफवाह फैलाने का आरोप भी लगा दिया गया | और उन्हे अंत मे
लिखित मे माफी मांगनी पड़ी |
इसी समय वुहान और आस-पास के इलाको के साथ साथ पूरा चीन इस जानलेवा वाइरस की चपेट
मे आ चुका था | और उससे होने वाली मौतों का आकडा लगातार बढ़ता ही जा रहा था |
7 फरवरी 2020 का पहला
सप्ताह, वुहान (चीन) से अचानक खबर
आई की कोरोना वाइरस से बारे मे सबसे पहले खबर देने वाले डॉ॰ली॰वेल्यांक की अचानक मौत
हो गई है और बताया गया की डॉ॰ली॰वेल्यांक 12 जनवरी 2020 से अस्तपाल मे भर्ती थे और
30 जनवरी 2020 को पता चला की वह कोरोना वाइरस की चपेट मे आ चुके है | उनकी मौत
रिपोर्ट के अनुसार 7 फरवरी 2020 को रात लगभग 2:58 मिनट के आस-पास हुई और रिपोर्ट के
अनुसार उन्हे कफ और बुखार था |
फरवरी 2020 का दूसरा
सप्ताह मे चीन के वुहान जो अब कोरोना के सेंटर बन चुका था, इस तरह
का सन्नाटा फ़ेल गया मानो कर्फ़्यू सा माहौल है |
WHO की टीम ने वुहान का जब दौरा किया, तब वहा
हर तरफ खौफनाक सन्नाटा ही पसरा हुआ था मानो पूरा शहर की खाली हो गया है | बहुत से लोग यहा से पलायन भी कर चुके थे |
13 फरवरी 2020 को साउथ चाइना के वैज्ञानिको
ने ये दावा किया की कोरोना वाइरस की शुरूआत वुहान के मार्केट से नही बल्कि यहा से नजदीक
बनी सरकारी रिसर्च लैब से फैली है | चाइना के वैज्ञानिको ने दावा किया की
लैब मे ऐसे जानवरो को रखा गया है जिनसे ये बीमारिया फैली और इस बीमारी को फैलाने के
लिए सबसे बड़े जिम्मेदार उन चंमगादडो को माना जा रहा है जिनकी इस लैब मे संख्या लगभग
600 से भी अधिक है|
13 फरवरी 2020 को अमेरिकी सांसद टॉम कार्टन
(Tom Cartan) ने कोरोना को लेकर एक नया खुलासा किया जिनके अनुसार “कोरोना वाइरस इंस्टीट्यूट
आफ वायरलाजी से लीक हुआ है, जो इन्सानों द्वारा तैयार किया गया
कोई जैविक हथियार भी हो सकता है, जिसे चीन लैब मे तैयार कर रहा
था |”
ये वाइरस फैला कैसे इसका तो अभी तक पता नही चल पाया है मगर जो भी हो इस महामारी
ने पूरी दुनिया को अपनी चपेट मे ले लिया है |
चीन के बाद ईरान और इटली सबसे ज्यादा इस वाइरस की चपेट मे आए | कहा जा
रहा है की अब तक ये लगभग 100 से भी ज्यादा देशो मे फैल चुका है | जिसमे भारत भी शामिल है |
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